Menu

 मीडियामोरचा

____________________________________पत्रकारिता के जनसरोकार

Print Friendly and PDF

आधुनिक मीडिया

अविनाश कुमार// 

वक्तव्यों की स्वातंत्र मीडिया
जब कर्तव्यों पर कुभलांती है,
आपातकाल और सेंसरशीप में
इसकी गरिमा धुंधलाती है,
“अंधे की लाठी है“
जब इसको बतलाया जाता है,
अखिल समाज का दर्पण है
ये बोध कराया जाता है,
जब जनहित विकास की जगह
जाति धर्म की खबरें चलती है,
तब अंतर्मन धधकता है
इस तन में आग भड़कती है,
प्रबल कामना अटल रहे
ये सरकारों से आबाद रहे।
निष्पक्ष रहे निज धर्म सदा
और हरदम जिंदाबाद रहे।।

सुरमा बनकर सत्य ढूंढते थे
इस वसुधा की पाई पाई में ,
पर आज स्वयं मदमस्त हुए
इस आलिंगन अंगड़ाई में ,
उत्कृष्ट छवि की परचम को
समरसता से लहराना है,
कर्तव्यों से विमुख होकर
जीते जी हीं मर जाना है,
कुछ स्वामी के प्रतिद्वंदी हैं
कुछ उनके पैर दबाते हैं, 
गदहों की टोली में तब
घोटक भी गिने जाते हैं,
मोह, भ्रम सब कुंठित हो
सुविचारों पर नाबाद रहे।
निष्पक्ष रहे निज धर्म सदा
और हरदम जिंदाबाद रहे।।

आधुनिकता के कुटिल भाव
जब इसको भरमाते हैं,
मन के विचार कुंठित होकर
निष्प्राण शेष रह जाते हैं,
जो निज मान की रक्षा कर न सके
वो आवाम के रक्षक बनते हैं,
जो स्वयं देख नहीं सकते
वे पथप्रदर्शक बनते हैं,
अजर, अमर, अविनाशी हो
ना कोई इसके बाद रहे।
निष्पक्ष रहे निज धर्म सदा,
और हरदम जिंदाबाद रहे।।

(अविनाश, कॉलेज ऑफ़ कॉमर्स, आर्ट्स एंड साइंस, पटना में पत्रकारिता के छात्र हैं)

Go Back

Comment

नवीनतम ---

View older posts »

पत्रिकाएँ--

175;250;e3113b18b05a1fcb91e81e1ded090b93f24b6abe175;250;cb150097774dfc51c84ab58ee179d7f15df4c524175;250;a6c926dbf8b18aa0e044d0470600e721879f830e175;250;13a1eb9e9492d0c85ecaa22a533a017b03a811f7175;250;2d0bd5e702ba5fbd6cf93c3bb31af4496b739c98175;250;5524ae0861b21601695565e291fc9a46a5aa01a6175;250;3f5d4c2c26b49398cdc34f19140db988cef92c8b175;250;53d28ccf11a5f2258dec2770c24682261b39a58a175;250;d01a50798db92480eb660ab52fc97aeff55267d1175;250;e3ef6eb4ddc24e5736d235ecbd68e454b88d5835175;250;cff38901a92ab320d4e4d127646582daa6fece06175;250;25130fee77cc6a7d68ab2492a99ed430fdff47b0175;250;7e84be03d3977911d181e8b790a80e12e21ad58a175;250;c1ebe705c563d9355a96600af90f2e1cfdf6376b175;250;911552ca3470227404da93505e63ae3c95dd56dc175;250;752583747c426bd51be54809f98c69c3528f1038175;250;ed9c8dbad8ad7c9fe8d008636b633855ff50ea2c175;250;969799be449e2055f65c603896fb29f738656784175;250;1447481c47e48a70f350800c31fe70afa2064f36175;250;8f97282f7496d06983b1c3d7797207a8ccdd8b32175;250;3c7d93bd3e7e8cda784687a58432fadb638ea913175;250;0e451815591ddc160d4393274b2230309d15a30d175;250;ff955d24bb4dbc41f6dd219dff216082120fe5f0175;250;028e71a59fee3b0ded62867ae56ab899c41bd974

पुरालेख--

सम्पादक

डॉ. लीना